पात्र कृषि उपभोक्ताओं को प्रतिमाह एक हजार रूपए अनुदान मिलेगा
जयपुर @ jagruk janta । मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ‘मुख्यमंत्री किसान मित्र ऊर्जा योजना’ के प्रारूप को मंजूरी दे दी है। इस योजना के तहत राज्य सरकार द्वारा मीटर्ड कृषि उपभोक्ताओं को बिजली के बिल पर प्रतिमाह एक हजार रूपए और अधिकतम 12 हजार रूपए प्रतिवर्ष अनुदान दिया जाएगा। इससे प्रतिवर्ष एक हजार 450 करोड़ रूपये का वित्तीय भार आएगा।
इस योजना का लाभ मई, 2021 से मिलना शुरू होगा। इसके तहत विद्युत वितरण निगमों द्वारा द्विमासिक बिलिंग व्यवस्था के आधार पर पात्र कृषि उपभोक्ताओं को विद्युत विपत्र जारी किए जाएंगे। अनुपातिक आधार पर विद्युत विपत्र का 60 प्रतिशत अधिकतम एक हजार रूपए प्रतिमाह देय होगा। केंद्र एवं राज्य सरकार के कर्मचारी एवं आयकर दाता कृषि उपभोक्ता अनुदान राशि के लिए पात्र नहीं होंगे।
पात्र उपभोक्ताओं को अपने आधार संख्या एवं बैंक खाते को योजना से जुड़वाना होगा। संबंधित उपभोक्ता के विरूद्ध विद्युत वितरण निगमों का बकाया नहीं होने पर ही अनुदान राशि देय होगी। बकाया भुगतान कर देने पर उपभोक्ता को अनुदान राशि आगामी विद्युत बिल पर देय होगी। योजना लागू होने केे माह से पहले की बकाया विद्युत बिल राशि को अनुदान में समायोजित नहीं किया जाएगा। यदि कोई किसान बिजली का कम उपभोग करता है और उसका बिल एक हजार रूपए से कम है, तो वास्तविक बिल एवं अनुदान राशि की अंतर राशि उसके बैंक खाते में जमा करवाई जाएगी। इससे किसानों में बिजली की बचत को प्रोत्साहन मिलेगा।
उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने वर्ष 2021-22 के बजट में सामान्य श्रेणी के ग्रामीण कृषि उपभोक्ताओं जिनका बिल मीटरिंग से आ रहा है, उन्हें प्रतिमाह एक हजार रूपए एवं प्रतिवर्ष अधिकतम 12 हजार रूपए अनुदान राशि देने की घोषणा की थी। मुख्यमंत्री की बजट घोषणा की अनुपालना में विद्युत वितरण निगमों द्वारा अनुदान राशि हस्तांतरण के लिए वर्ष 2021-22 के आय-व्ययक अनुमानों में 750 करोड़ रूपए का प्रावधान टैरिफ सब्सिडी मद में शामिल कर रखा गया है।