जम्मू-कश्मीर के उधमपुर पहुंचे पीएम मोदी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर की धरती पर मेरा आना जाना पिछले 5 दशक से चल रहा है। मुझे याद है 1992 में एकता यात्रा के दौरान यहां आपने भव्य स्वागत और सम्मान किया था। उन्होंने अयोध्या राम मंदिर और आर्टिकल 370 पर भी बात की।
श्रीनगर: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर के उधमपुर पहुंचे। यहां विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए, उन्होंने विपक्ष में जमकर निशाना साधा। पीएम ने आर्टिकल 370 और अयोध्या के राम मंदिर के बहाने ‘इंडिया’ गठबंधन पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि कांग्रेस और विपक्ष के सारे पाप भुलाकर उन्हें राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा का निमंत्रण भेजा गया लेकिन उन्होंने इसे ठुकरा दिया। यह उनके पाप ही हैं। पीएम मोदी ने राहुल गांधी को निशाने पर लेते हुए कहा कि एक सजायाफ्ता जो कोर्ट से जमानत पर है, जो एक मुजरिम है, कांग्रेस के लोग उसके घर जाकर सावन के महीने में उनके घर मटन पकाते हैं और लोगों को चिढ़ाने के लिए उसका वीडिया पोस्ट करते हैं। लोकतंत्र किसी को खाने से नहीं रोकता है, लेकिन इनकी मंशा कुछ और होती है। मुगलों को राजााओं को हराकर संतोष नहीं मिलता था, जब तक वह मंदिर नहीं तोड़ते थे,जब तक वह धार्मिक भावनाओं को आहत नहीं करते थे उन्हें संतोष नहीं होता था।इसी तरह का काम ये लोग कर रहे हैं। सावन के महीने में मटन पकाकर उसका वीडियो पोस्ट करके लोगों को चिढ़ा रहे हैं। नवरात्र में मछली खाते हुए वीडियो पोस्ट करके लोगों को भावनाओं को चिढ़ा रहे हैं। ये लोग अपने वोटबैंक इस तरह से पक्का करना चाहते हैं। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि जल्द ही जम्मू-कश्मीर को राज्य का दर्जा भी मिलेगा।
पीएम ने कहा कि आज मैं यहां जो कह रहा हूं, इसके बाद ये लोग गालियों के बोझार लेकर मेरे ऊपर बरस पड़ेंगे, लेकिन जहां लोकतंत्र के बात आती है, मैं चुप नहीं बैठूंगा। ये लोग देश की मान्यताओं पर हमला करते हैं। एक बड़े वर्ग को इस वीडियो से चिढ़ाते हैं। उनकी यह मुगलिया सोच है लेकिन इन्हें नहीं पता कि जनता जवाब देती है तो बड़े शाही परिवारों के युवराजों को बेदखल होना पड़ता है।
‘राम मंदिर का नाम लेना भी कांग्रेस को पसंद नहीं’
पीएम ने कहा का कांग्रेस राम मंदिर से कितनी नफरत करती है, यह सबके सामने है। अगर मुंह से राम मंदिर भी निकल गया तो कांग्रेस चिल्लाने लगती है, कहती है कि बीजेपी के लिए राम मंदिर चुनाव का मुद्दा है। बीजेपी के लिए कभी भी राम मंदिर चुनाव का मुद्दा था, न है और न ही कभी होगा। जब बीजेपी नहीं थी, तब से राम मंदिर था। विदेशी आक्रांताओं ने हमारे मंदिर तोड़े तो भारत के लोगों ने अपने धर्म स्थलों को बचाने की लड़ाई लड़ी। अपनी आस्था के लिए वर्षों तक उन्होंने क्या-क्या नहीं झेला?
‘कांग्रेस ने पाप किए, ठुकराया राम मंदिर का निमंत्रण’
कांग्रेस अपने महलों में रहती थी। जब राम लला के टेंट को बदलने की बात आती थी तो मुंह फेर लेते थे। बारिश में टेंट टपकता था, भक्त टेंट बदलवाने के लिए कोर्ट के चक्कर काटते थे, यह करोड़ों लोगों की आस्था पर वार था। हमने इन्हीं लोगों से कहा कि एक दिन आएगा, जब राम लला भव्य मंदिर में विराजेंगे। 3 बातें कभी भूल नहीं सकते। 500 साल के अविरत संघर्ष के बाद यह हुआ है। दूसरा पूरी न्याय के तराजू से तौलकर यह मंदिर बना है। तीसरा यह भव्य मंदिर सरकारी खजाने से नहीं, देश के कोटि-कोटि नागरिकों ने पाई-पाई दान देकर बनाया है। मंदिर की जब प्राण प्रतिष्ठा हुई तो पिछले 70 साल में कांग्रेस ने जो भी पाप किए, जो भी रुकावटें डालीं, सबको भुलाकर मंदिर के ट्रस्टी कांग्रेस वालों के घर गए, उनके पुराने पाप को माफ कर दिया। कहा कि राम आपके भी हैं, उन्हें सम्मान के साथ बुलाया, लेकिन उन्होंने इस निमंत्रण को ठुकरा दिया।
‘राम मंदिर कांग्रेस के लिए चुनावी मुद्दा इसलिए ठुकराया निमंत्रण’
पीएम ने कहा कि कोई बताएं, वह कौन सा चुनावी कारनामा था, जिसके दबाव में आपने राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा के निमंत्रण को ठुकरा दिया। कौन सा चुनावी खेल था जो राम मंदिर के पवित्र काम को ठुकरा दिया। इंडि गठबंधन वाले इसे चुनावी मुद्दा था लेकिन देश के लिए यह धर्म का मुद्दा था। यह आस्था का मुद्दा था। जिस क्षण के लिए करोड़ों देशवासी इंतजार कर रहे थे, आप बुलाने पर इसे देखने तक नहीं गए। दुनिया ने आपके इस घमंड को देखा है। यह चुनावी मंशा थी कि आपने प्राण प्रतिष्ठा का निमंत्रण ठुकरा दिया। यह आपकी तृष्टिकरण की राजनीति थी।
कांग्रेस भगवान राम को काल्पनिक कहकर किन लोगों को खुश करना चाहती थी? कांग्रेस को देश के लोगों की भावनाओं की फिक्र नहीं है। उन्हें लोगों की भावनाओं से खिलवाड़ करने से मजा आता है।
आर्टिकल 370 पर भी बोले
पीएम ने कहा कि अब यहां स्कूल नहीं जलाए जाते, बल्कि स्कूल सजाए जाते हैं। अब यहां AIIMS बन रहे हैं, IIT बन रहे हैं, IIM बन रहे हैं। अब देखिए, जब उनकी यहां नहीं चली, जम्मू कश्मीर के लोग उनकी असलियत जान गए, तो ये लोग अब जम्मू कश्मीर के बाहर देश के लोगों के बीच भ्रम फैलाने का खेल, खेल रहे हैं। आधुनिक टनल, आधुनिक चौड़ी सड़कें, शानदार रेल का सफर जम्मू कश्मीर की तकदीर बन रहे हैं। ये कहते थे कि 370 हटी तो आग लग जाएगी, जम्मू कश्मीर हमें छोड़कर चला जाएगा। लेकिन जम्मू कश्मीर के नौजवानों ने इनको आईना दिखा दिया।
ये कहते हैं कि 370 के हटने से देश को कोई लाभ नहीं हुआ। मोदी विकसित भारत के लिए विकसित जम्मू कश्मीर के निर्माण की गारंटी दे रहा है। लेकिन कांग्रेस, नेशनल कॉन्फ्रेंस और पीडीपी, जम्मू कश्मीर को फिर उन पुराने दिनों की तरफ ले जाना चाहती हैं। इन परिवार चलित पार्टियों ने जम्मू कश्मीर का जितना नुकसान किया, उतना नुकसान किसी ने नहीं किया है। इन राजनीतिक पार्टियों का मतलब ऑफ द फैमिली, बाय द फैमिली है। आप याद कीजिए कांग्रेस की कमजोर सरकारों ने शाहपुर कंडी डैम को कैसे दशकों तक लटकाए रखा।
पीएम ने कहा कि जम्मू के किसानों के खेत सूखे थे, गांव अंधेरे में थे। लेकिन हमारे हक का रावी का पानी पाकिस्तान जा रहा था। मोदी ने किसानों को गारंटी दी थी और इसे भी पूरा करके दिखाया है। इससे कठुआ और सांबा के हजारों किसानों को फायदा हुआ है। यही नहीं इस डैम से जो बिजली पैदा होगी, वो जम्मू कश्मीर के घरों को रोशन करेगी। ये चुनाव सिर्फ सांसद चुनने का नहीं है, बल्कि ये चुनाव देश में एक मजबूत सरकार बनाने का चुनाव है। और सरकार जब मजबूत होती है, तो जमीन पर चुनौतियों के बीच भी, चुनौतियों को चुनौती देते हुए काम करके दिखाती है। दशकों बाद ये पहला चुनाव है, जब आतंकवाद, अलगाववाद, पत्थरबाजी, बंद, हड़ताल, सीमा पार से गोलीबारी, ये चुनाव के मुद्दे ही नहीं हैं।
मोदी ने कहा कि तब माता वैष्णो देवी यात्रा हों या अमरनाथ यात्रा, ये सुरक्षित तरीके से कैसे हों इसको लेकर ही चिंता होती थी। आज स्थिति एकदम बदल गई है। आज जम्मू कश्मीर में विकास भी हो रहा है और विश्वास भी बढ़ रहा है। इसलिए आज जम्मू कश्मीर के चप्पे-चप्पे से एक ही गूंज सुनाई दे रही है – फिर एक बार मोदी सरकार। दशकों बाद ये पहला चुनाव है, जब आतंकवाद, अलगाववाद, पत्थरबाजी, बंद, हड़ताल, सीमा पार से गोलीबारी, ये चुनाव के मुद्दे ही नहीं हैं। तब माता वैष्णो देवी यात्रा हों या अमरनाथ यात्रा, ये सुरक्षित तरीके से कैसे हों इसको लेकर ही चिंता होती थी। आज स्थिति एकदम बदल गई है। आज जम्मू कश्मीर में विकास भी हो रहा है और विश्वास भी बढ़ रहा है।