जनरल केनेथ मैकेंजी ने बताया कि आखिरी अमरीकी सी-17 सैन्य विमान (US Mission in Kabul Ends) ने हामिद करजई इंटरनेशनल एयरपोर्ट से आधी रात को उड़ान भरा। मैकेंजी ने बताया कि तालिबान दोनों पक्षों के बीच गरही दुश्मनी के बावजूद निकासी और अंतिम उड़ानों के संचालन में मददगार रहा है।
नई दिल्ली। अफगानिस्तान से अमरीकी सेना (US Mission in Kabul Ends) अब वापस चली गई है। पेंटागन ने सोमवार को ऐलान किया कि करीब 20 साल के अमरीकी सैन्य अभियानों के बाद अफगानिस्तान से अमरीकी सैनिकों की वापसी पूरी हो गई है। अमरीकी रक्षा विभाग पेंटागन ने ट्वीट कर बताया कि अफगानिस्तान छोडऩे वाला आखिरी अमरीकी सैनिक मेजर जनरल क्रिस डोनह्यू हैं, जो 30 अगस्त को सी-17 विमान में सवार हुए और यह काबुल में अमरीकी मिशन के अंत का प्रतीक है।
अमरीका के आखिरी सैनिकों की टुकड़ी को लेकर अफगानिस्तान से रुखसत हुए विमान के साथ ही यूएस सेंट्रल कमांड जनरल केनेथ मैकेंजी ने पेंटागन न्यूज कांफ्रेंस के दौरान अफगानिस्तान से अमरीकी मिशन पूरा होने का ऐलान कर दिया। वहीं, जनरल केनेथ मैकेंजी ने कहा, मैं यहां अफगानिस्तान से अपनी वापसी पूरी होने और अमरीकी नागरिकों को निकालने के लिए सैन्य अभियान की समाप्ति का ऐलान करता हूं।
जनरल केनेथ मैकेंजी ने बताया कि आखिरी अमरीकी सी-17 सैन्य विमान ने हामिद करजई इंटरनेशनल एयरपोर्ट से आधी रात को उड़ान भरा। मैकेंजी ने बताया कि तालिबान दोनों पक्षों के बीच गरही दुश्मनी के बावजूद निकासी और अंतिम उड़ानों के संचालन में मददगार रहा है।
आतंकी संगठन अल कायदा की ओर से अमरीका पर 11 सितंबर 2001 के हमलों के बाद 2001 में ही तालिबान को सत्ता से बेदखल करने के लिए अमरीकी सैनिक नाटो गठबंधन के नेतृत्व में अफगानिस्तान आए थे। राष्ट्रपति जो बिडेन ने इस साल की शुरुआत में अमरीकी सेना की वापसी के लिए 31 अगस्त की समय सीमा तय की थी।
हालांकि, आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट-खुरासन ने दो हफ्ते के निकासी अभियान के दौरान हमले भी किए, जिसमें 13 अमरीकी सैनिकों की मौत हो गई, जबकि सौ से अधिक घायल हो गए। इसके बाद कड़ी सुरक्षा के बीच काबुल एयरपोर्ट से अंतिम उड़ान खत्म और 20 साल का सैन्य मिशन पूरा हुआ।