श्रीकृष्ण जन्माष्टमी 7 सितंबर को मनाई जाएगी। इसे लेकर शहर के आराध्य गोविंदेदवजी मंदिर में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का उल्लास नजर आने लगा है।
जयपुर। श्रीकृष्ण जन्माष्टमी 7 सितंबर को मनाई जाएगी। इसे लेकर शहर के आराध्य गोविंदेदवजी मंदिर में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का उल्लास नजर आने लगा है। श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर तड़के 4.30 बजे मंगला आरती होगी, वहीं रात 12 बजे तिथि पूजन के साथ तोपों की सलामी के साथ जन्माभिषेक होगा। इसके अलगे दिन 8 सितंबर को श्रीकृष्ण की जन्म की खुशी में नंदोत्सव मनाया जाएगा। इससे पहले मंदिर में आज से भजन—संकीर्तन व सांस्कृतिक कार्यक्रम शुरू होंगे। इस बीच मंदिर में तैयारियों को अंतिम रूप दिया जा रहा है।
मंदिर प्रवक्ता मानस गोस्वामी ने बताया कि जन्माष्टमी की कार्यक्रम शुरू हो चुके है। मुख्य आयोजन 7 अगस्त को श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर होगा। इस दिन तड़के 4.30 बजे मंगला आरती होगी। धूप आरती सुबह 7.30 बजे होगी। इस दिन रात्रि 12 बजे से 12.30 बजे तक तिथि पूजन और जन्माभिषेक के आयोजन होंगे। इसके अगले दिन नंदोत्सव का आयोजन होगा। नंदोत्सव सुबह शृंगार झांकी के दौरान सुबह 9.15 बजे से सुबह 10 बजे तक मनाया जाएगा। इस दिन शहर में श्रीकृष्णजी की शोभायात्रा निकाली जाएगी, जिसमें श्रीकृष्ण के विविध रूप साकार होंगे।
आज से कृष्ण भक्ति से सराबोर
श्रीकृष्ण जन्माष्टमी महोत्सव आज से परवान चढ़ेगा। एक से 6 सितंबर तक सुबह भजन कीर्तन होंगे, वहीं शाम को भक्ति प्रधान सांस्कृतिक कार्यक्रम होंगे। राधा गोविंद सखी परिवार, राधा रमण कृपा परिवार, श्री विठ्ठल भैया परिवार, गौरांग महाप्रभु सत्संग मंडल और वृंदावन वैष्णव मंडल सुबह भजन-कीर्तन करेंगे, वहीं शाम को राधा वल्लभ गायन ग्रुप, संजय रायजादा-मंजू शर्मा, आलोक भट्ट, अविनाश शर्मा कृष्ण भक्ति से सराबोर भजनों की प्रस्तुतियां देंगे। सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान कान्हा की बाल लीलाएं साकार होगी।
गोविंददेवजी के जन्माष्टमी पर झांकियों का समय
झांकी — समय
मंगला आरती — सुबह 4.30 बजे से 6.45 बजे तक
धूप आरती — सुबह 7.30 बजे से 9.30 बजे तक
शृंगार आरती — सुबह 9.45 बजे से 11.30 बजे तक
राजभोग आरती — मध्यान्ह 11.45 बजे से 1.30 बजे तक
ग्वाल आरती — शाम 4 बजे से 6.30 बजे तक
संध्या आरती — शाम 6.45 बजे से रात 8.30 बजे तक
शयन आरती — रात 9.15 बजे से 10.30 बजे तक
तिथि पूजन व अभिषेक — मध्यरात्रि 12 बजे से 12.30 बजे तक