रक्षाबंधन पर पूरे दिन शुभ मुहुर्त, फिर भी सूनी रहेगी हजारों भाईयों की कलाई…

अफसरों का कहना है कि दूसरी लहर भी अभी तक पूरी तरह से नहीं गई है। सावधानी बरतना सभी के लिए जरुरी है।

जयपुर। कोरोना ने एक बार तो पूरे साल के त्योंहार खराब कर ही दिए हैं और अब दूसरी साल के त्योंहारों पर भी कोरोना का काला साया पडता दिख रहा है। हांलाकि इस बार हालात पिछले साल की तुलना में बेहतर हैं लेकिन उसके बाद भी जेल प्रशासन किसी तरह की रिस्क लेने को तैयार नहीं हैं। प्रदेश की सवा सौ से भी ज्यादा जेलों मंे बंद बंदी इस बार भी अपनी बहनों को नहीं देख सकेंगे। हांलाकि नियमानुयार आॅन लाइन मुलाकात जरुरी की जा सकेगी। जेलों मंे इस बार भी रक्षाबंधन के लिए कोई इंतजाम नहीं किए गए हैं।

डीजी समेत ग्यारह सौ बंदी हो गए थे पाॅजिटिव, लेकिन मोर्चा संभाले रखा
पिछले साल कोरोना के दौरान प्रदेश की जेलों में कोरोना की ऐसी लहर आई कि खुद उस समय डीजी जेल बीएल सोनी भी नहीं बच सके। जेलों में रुटीन जांच के दौरान वे भी संक्रमित हो गए थे। डीजी के अलावा कई अन्य अफसर जिनमें सेंट्रल जेलों के इंजार्च तक शामिल थे वे भी कोरोना से जंग लडते रहे। जयपुर सेंट्रल जेल और जिला जेल दोनो के अधीक्षक लंबे समय तक भर्ती रहे। प्रदेश की सवा सौ से भी ज्यादा जेलों में बंद बीस हजार से भी ज्यादा बंदियों में करीब ग्यारह सौ बंदी पाॅजिटिव हुए लेकिन जेल के सख्त नियमों के चलते सभी नेगेटिव भी हुए। बड़ी बात यह रही कि इतना बड़ा बेड़ा होने के बाद भी जेल प्रशसन या बंदियों में से किसी की कोरोना डेथ नहीं हुई।

90 प्रतिशत तक वेक्सीनेटेड, लेकिन सुरक्षा कारणों से टल रही राखी
इस बार हालात पिछले साल की तुलना में बहुत बेहतर हैं। जेलों में बंद 90 प्रतिशत से भी ज्यादा बंदियों को दोनो वैक्सीन लग चुकी है। साथ ही स्टाफ को भी दोनो डोज दी जा चुकी है। लेकिन उसके बाद भी सुरक्षा कारणों के चलते मुलाकात बंदी जारी है। अब इसी दौरान जेलों में रक्षाबंधन को इस साल भी टाला जा रहा है। जेलों में बहनों की एंट्री बैन है।अफसरों का कहना है कि दूसरी लहर भी अभी तक पूरी तरह से नहीं गई है। सावधानी बरतना सभी के लिए जरुरी है।

इस तरह मनाई जा सकेगी राखी
जेल प्रशासन की ओर से तो रक्षाबंधन पर बहनों की एंट्री पूरी तरह से बैन कर दी गई है। लेकिन कई बड़ी जेलों में यह बंदोबस्त भी किया गया है कि अगर कोई बहन आती है तो उसकी राखी का पैकेट जेल परिसर के बाहर ही जेल स्टाफ ले लेवे और बाद में उसे भाई तक पहुंचा दिया जाए। कई बड़ी जेलों में इसी तरह का प्रबंधन किया गया है।

Date:

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Share post:

Subscribe

spot_imgspot_img

Popular

More like this
Related

महाराष्ट्र में प्रचंड जीत: मुंबई के बीजेपी दफ्तर में लगा ‘एक हैं तो सेफ हैं’ का पोस्टर, चर्चाएं तेज

महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में महायुति ने महाविकस अघाड़ी को...

Maharashtra Election Results Live: महाराष्ट्र में BJP+ ने विपक्ष को किया चारों खाने चित, फडणवीस बन सकते हैं CM

महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में महायुति ने महाविकास अघाड़ी को...